Thursday, November 21राष्ट्रीय हिन्दी रक्षक मंच पर आपका स्वागत है... अभी सम्पर्क करें ९८२७३६०३६०

एक दिन ज़रूर होगा

दामोदर विरमाल
महू – इंदौर (मध्यप्रदेश)

********************

ये एक दिन में नही होगा मगर एक दिन ज़रूर होगा।
मेरे अपनो को भी मुझ पर बेइंतहा गुरुर होगा।

उड़ने की कोशिश में हूँ बिना पंखों के आसमान में,
हौसलों ने दिया साथ तो छा जाऊंगा जहान में,
मेरी नज़्म का एक दिन, तुम्हारे होठों पर सुरूर होगा…

ये एक दिन में नही होगा मगर एक दिन ज़रूर होगा।

चलता ही रहता हूँ अपनी मंज़िल की तलाश में,
आलोचक बहुत है मगर होता नही निराश में,
देखना एक दिन आयेगा, जब दामोदर मशहूर होगा…

ये एक दिन में नही होगा मगर एक दिन ज़रूर होगा।

कोई कहता है तू तो पागल हो गया है,
ना जाने कोनसी दुनिया मे तू खो गया है,
ये तो मेरा ख़्वाब है, कोई दौलत नही जो गुरुर होगा…

ये एक दिन में नही होगा मगर एक दिन ज़रूर होगा।

सर्वरस धारा का एक दरिया है ये,
दिल की बात कहने का ज़रिया है ये,
मैं तो यूँ ही लिखता रहूंगा, अगर तुम्हे मंजूर होगा…

ये एक दिन में नही होगा मगर एक दिन ज़रूर होगा।

.

परिचय :- ३१ वर्षीय दामोदर विरमाल पचोर जिला राजगढ़ के निवासी होकर इंदौर में निवास करते है। मध्यप्रदेश में ख्याति प्राप्त हिंदी साहित्य के कवि स्वर्गीय डॉ. श्री बद्रीप्रसाद जी विरमाल इनके नानाजी थे। आपके द्वारा अभी तक कई कविताये, मुक्तक, एवं ग़ज़ल व गीत लिखे गए है, जो आये दिन अखबारों में प्रकाशित होते रहते है। गायन के क्षेत्र कराओके गीत गाने में आप खासी रुचि रखते है।


आप भी अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, आदि हिंदी रक्षक मंच पर अपने परिचय एवं फोटो के साथ प्रकाशित करवा सकते हैं, हिंदी रक्षक मंच पर अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, आदि प्रकाशित करवाने हेतु अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, हिंदी में टाईप करके हमें hindirakshak17@gmail.comपर अणु डाक (मेल) कीजिये, अणु डाक करने के बाद हमे हमारे नंबर ९८२७३ ६०३६० पर सूचित अवश्य करें … और अपनी कविताएं, लेख पढ़ें अपने चलभाष पर या गूगल पर www.hindirakshak.com खोजें…🙏🏻

आपको यह रचना अच्छी लगे तो साझा जरुर कीजिये और पढते रहे hindirakshak.com हिंदी रक्षक मंच से जुड़ने व कविताएं, कहानियां, लेख, आदि अपने चलभाष पर प्राप्त करने हेतु हिंदी रक्षक मंच की इस लिंक को खोलें और लाइक करें 👉🏻hindi rakshak manch 👈🏻 हिंदी रक्षक मंच की इस लिंक को खोलें और लाइक करें … हिंदी रक्षक मंच का सदस्य बनने हेतु अपने चलभाष पर पहले हमारा चलभाष क्रमांक ९८२७३ ६०३६० सुरक्षित कर लें फिर उस पर अपना नाम और कृपया मुझे जोड़ें लिखकर हमें भेजें…

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *