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माँ की ममता
कविता

माँ की ममता

अनन्तराम चौबे "अनन्त" जबलपुर (म.प्र.) ******************** माँ की ममता बच्चों में होती है। माँ स्नेह प्यार दुलार की मूरत होती है। बहू आने पर क्यों ये रूप बदल जाता है। क्या सास द्वारा दिये गये वो दर्द याद आ जाते है। सास-बहू के झगड़े तो वैसे ही जग जाहिर हैं। कभी सास पर कभी बहू पर अत्याचार होते रहते हैं। कोई बहू दहेज न लाई जो माता-पिता की मजबूरी थी। भाई-बहिनों की पढाई और भी परिवार के खर्चो की मजबूरी थी। पति, सास, ससुर सभी से ऐसी बहू सताई जाती है। पहले तो प्रताणित होती है फिर तेल डाल जलाई जाती है। एक बहू वो भी होती है जो पति, सास, ससुर को पैसे देकर खरीद लेती है और सत्ता वही चलाती है। पूरे घर में फूट डालती है मनमानी हर पल करती है। बदला लेने सास ससुर को बृद्धाश्रम भिजवा देती है। माँ की ममता बहू भी चाहती जो माँ की ममता बच्चो में होती है। सास बहू के इन झगड़ो में अक्सर ये नौबत आती रहती है...