Thursday, November 21राष्ट्रीय हिन्दी रक्षक मंच पर आपका स्वागत है... अभी सम्पर्क करें ९८२७३६०३६०

गरुण पुराण के अनुसार दूसरे का घर तोड़ने वाले व्यक्ति को नरक में भी जगह नहीं मिलती

**********

अमित राजपूत
उत्तर प्रदेश

गरुण पुराण के हिसाब से दूसरों का परिवार खराब करने वाले व्यक्तियों को नर्क में भी स्थान नहीं मिलता ऐसे व्यक्ति मृत्यु पश्चात भी प्रेत योनि को प्राप्त होते  हैं और दरबदर भटकते रहते हैं जिन्हें मोक्ष प्राप्त नहीं होता मिट्टी के घड़े और परिवार की कीमत उसे बनाने वाले को पता होती है तोड़ने वाले को नहीं इसलिए सदैव हर किसी व्यक्ति के घर को टूटने से बचाना चाहिए ना कि उसे तोड़ने का प्रयास करना चाहिए कुछ ईर्ष्या वान व्यक्ति अपने दुख से नहीं दूसरे के सुख से परेशान होते हैं यह वह व्यक्ति होते हैं जो पूरी जिंदगी सब कुछ होते हुए भी बेचैन रहते हैं क्योंकि उन्हें इस बात से परेशानी होती है कि सामने वाला व्यक्ति सुखी जीवन किस प्रकार व्यतीत कर रहा है ऐसे व्यक्ति अच्छा खासा कमाते हुए भी ना तो जीवन भर कुछ जोड़ पाते हैंऔर ना ही पारिवारिक सुख प्राप्त कर पाते हैं क्योंकि इन्हें हर कोई व्यक्ति छोड़ देता है इसके विपरीत जिस व्यक्ति का घर तोड़ने की कोशिश की जा रही है वे थोड़े समय पश्चात  फिर से सुखी जीवन व्यतीत करने लगता है ईश्वर से बड़ा कोई न्यायदाता नहीं वह सब को देख रहा है कि कौन किस प्रकार के अच्छे बुरे कार्य कर रहा है उसी के फलस्वरूप वह व्यक्ति को दंड देता है ईर्ष्यालु व्यक्ति थोड़े दिन तो दूसरे को दुखी देखकर प्रसन्न रह सकता है किंतु कुछ समय पश्चात जब उसका समय आता है तो वह दरबदर भटकता है गरुण पुराण के अनुसार ऐसे व्यक्ति को मृत्यु पश्चात नर्क में इस प्रकार का दंड दिया जाता है कि वह प्रेत योनि में जाकर दरबदर भटकता है और मोक्ष की प्राप्ति के लिए ईश्वर से फिर दया याचना मांगता  है यदि किसी व्यक्ति का घर परिवार टूट रहा हो तो उसे बनाने की कोशिश करनी चाहिए ना कि उसे तोड़ने का प्रयास करना चाहिए ईश्वर ने मानव जाति को ही धरती पर प्रेमभाव से रहने के लिए भेजा है ना कि ईर्ष्या करने के लिए इसलिए सदैव दूसरे के दुख में स्वयं की पीड़ा समझने चाहिए और दूसरे के सुख में खुद सुख में होना चाहिए तभी व्यक्ति मोक्ष की प्राप्ति हो स्वर्ग में जाता है आप सभी से अनुरोध है यदि किसी व्यक्ति का घर टूट रहा हो तो उसे जोड़ने का प्रयास करें गरुण पुराण के अनुसार कोई व्यक्ति यदि किसी व्यक्ति का घर जोड़ने का प्रयास करता है तो उसे स्वर्ग की प्राप्ति होती है और तोड़ने का प्रयास करता है तो उसे नर्क मैं भी जगह नहीं मिलती …
.
लेखक परिचय :- अमित राजपूत उत्तर प्रदेश गाजियाबाद

आप भी अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, आदि हिंदी रक्षक मंच पर अपने परिचय एवं फोटो के साथ प्रकाशित करवा सकते हैं, हिंदी रक्षक मंच पर अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, आदि प्रकाशित करवाने हेतु अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, हिंदी में टाईप करके हमें hindirakshak17@gmail.com पर अणु डाक (मेल) कीजिये, अणु डाक करने के बाद हमे हमारे नंबर ९८२७३ ६०३६० पर सूचित अवश्य करें … और अपनी कविताएं, लेख पढ़ें अपने चलभाष पर या गूगल पर www.hindirakshak.com खोजें…🙏🏻

आपको यह रचना अच्छी लगे तो साझा जरुर कीजिये और पढते रहे hindirakshak.com हिंदी रक्षक मंच से जुड़ने व कविताएं, कहानियां, लेख, आदि अपने चलभाष पर प्राप्त करने हेतु अपने चलभाष पर पहले हमारा चलभाष क्रमांक ९८२७३ ६०३६० सुरक्षित कर लें फिर उस पर अपना नाम और कृपया मुझे जोड़ें लिखकर हमें भेजें…

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *