Saturday, November 23राष्ट्रीय हिन्दी रक्षक मंच पर आपका स्वागत है... अभी सम्पर्क करें ९८२७३६०३६०

श्रमिक

श्रमिक

==================================

रचयिता : राम शर्मा “परिंदा”

जिनके दम पर निर्मित हुए
राजमार्ग – उपवन – प्रासाद
आओ उन श्रमिकों को
आज करें हम याद
जाने किस फौलाद से
बनता है इनका सीना
सिर पर बोझ ढो-कर जो
बहाते है पसीना
गर्मी-सर्दी कुछ ना देखे
कर्म करें बारहों महीना
धर्म -जाति में भेद ना करते
रामू – राबर्ट या हो सकीना
श्रमिक ही है इस धरा का
बहुमूल्य सु़ंदर नगीना
जिनके श्रम से सफल हुआ
वैभवशाली अपना जीना
जिनके दम पर हम सुखी
करते मौज से खाना-पीना
आओ इनका तिलक करें
राजू – मोहन – रीना
जिनसे रौशन जग सारा
जिनसे जग हुआ आबाद
आओ उन श्रमिकों को
आज करे हम याद।
लेखक परिचय :- नाम – राम शर्मा “परिंदा” (रामेश्वर शर्मा) पिता स्व जगदीश शर्मा आपका मूल निवास ग्राम अछोदा पुनर्वास तहसील मनावर है। आपने एम काम बी एड किया है वर्तमान में आप शिक्षक हैं आपके तीन काव्य संग्रह 1 परिंदा , 2- उड़ान , 3- पाठशाला प्रकाशित हो चुके हैं और विभिन्न समाचार पत्रों में आपकी रचनाओं का प्रकाशन होता रहता है, दूरदर्शन पर काव्य पाठ के साथ-साथ आप मंचीय कवि सम्मेलन में संचालन भी करते हैं। आपके साहित्य चुनने का कारण – भावाभिव्यक्ति का माध्यम है अन्य अभिरुचि – अध्यात्मिक एवं ज्योतिष संबंधी शो …

आप भी अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, आदि अपने परिचय एवं फोटो के साथ प्रकाशित करवा सकते हैं, अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, आदि प्रकाशित करवाने हेतु हिंदी में टाईप करके हमें hindirakshak17@gmail.com पर मेल कीजिये मेल करने के बाद हमे हमारे नंबर ९८२७३ ६०३६० पर कॉल करके सूचित अवश्य करें … और अपनी खबरें, लेख, कविताएं पढ़ें अपने मोबाइल पर या गूगल पर www.hindirakshak.com सर्च करें…🙏🏻

आपको यह रचना अच्छी लगे तो साझा जरुर कीजिये और खबरों के लिए पढते रहे hindirakshak.com  कविताएं, कहानियां, लेख, आदि अपने मोबाइल पर प्राप्त करने हेतु हिंदी रक्षक के ब्राडकॉस्टिंग सेवा से जुड़ने के लिए अपने मोबाइल पर पहले हमारा नम्बर ९८२७३ ६०३६० सेव के लें फिर उस पर अपना नाम और कृपया मुझे जोड़ें लिखकर हमें सेंड करें…

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *