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भगति म मन ल लगाबो

खुमान सिंह भाट
रमतरा, बालोद, (छत्तीसगढ़)
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छत्तीसगढ़ी भजन

भगति म मन ल लगाबो
चल भईया भगति म मन ल रमाबो रे
जिनगी ले मुक्ति हम पाबो रे
भव सागर ले तर जाबो रे
चल भईया भगति म …

चल दीदी अमृत गंगा म
डुबकी लगाबो जी
राम कथा म मन ल रमाबो जी
जिनगी ल सुफल बनाबो… (२)

शबरी ल जानने,
मीरा ल मानेन
भगति के मिशाल हे..(२)

मोर भाई..
बढ़ निक लागे
तुलसी के बानी
जिनगी बर हावे…( २)

संजोए मोर भाई
राम कथा ल गांव- गांव..(२)

पहुंचाबोन जी
जिनगी ल सुफल बनाबो
भव सागर ले तर जाबो जी…
चल भईया चल दीदी भगति म
मन ल लगाबो जी…

जिनगी ले मुक्ति हम पाबो जी
दुनिया म अंजोर बगराबो जी
भव सागर ले तर जाबो जी
मोर भईया मोर दीदी
भगति म मन रमाबो जी…

परिचय :- खुमान सिंह भाट
पिता : श्री पुनित राम भाट
निवासी : ग्राम- रमतरा, जिला- बालोद, (छत्तीसगढ़)
घोषणा पत्र : मैं यह प्रमाणित करता हूँ कि सर्वाधिकार सुरक्षित मेरी यह रचना, स्वरचित एवं मौलिक है।


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