Thursday, November 7राष्ट्रीय हिन्दी रक्षक मंच पर आपका स्वागत है... अभी सम्पर्क करें ९८२७३६०३६०

बेटी

डॉ. किरन अवस्थी
मिनियापोलिसम (अमेरिका)

********************

अनचाही होकर भी बेटी
मन को सम्मोहित कर लेती है
उसकी नन्हीं चितवन ही
अनचाही को चाही कर देती है

ह्रदय मर्म को छूनेवाली
वही एक नारी है
किन्तु भावनाशून्य पिता को
वही एक भारी है

बेटी न केवल पुत्री है
रमा, शारदा, वह दुर्गा है
बलिदान, त्याग, ममता की मूर्ति
अमित सौहार्द, सहनशक्ति

गृहलक्ष्मी बन असहज क्षणों में
सखी-सहेली बन जाती है
माँ बन वह ममता का
सारा कोष लुटाती है

भगिनी बनकर स्नेहसूत्र में
बाँध सभी को लेती है
पत्नी बन वह न्योछावर
साँसें अपनी कर देती है।

शिक्षित होकर वह
माँ सरस्वती बन जाती है
प्रश्न उठे गृहरक्षा का जब
दुर्गारूप वह धर लेती है

इसीलिए वरदान है बेटी
मात-पिता का मान है बेटी
दो कुलों की तारक है
अतुल शक्ति की खान है बेटी।
जयहिन्द
जय हिन्द की बेटी

परिचय :- डॉ. किरन अवस्थी
सम्प्रति : सेवा निवृत्त लेक्चरर
निवासी : सिलिकॉन सिटी इंदौर (मध्य प्रदेश)
वर्तमान निवासी : मिनियापोलिस, (अमेरिका)
शिक्षा : एम.ए. अंग्रेजी, एम.ए. भाषाविज्ञान, पी.एच.डी. भाषाविज्ञान
सर्टिफिकेट कोर्स : फ़्रेंच व गुजराती।
पुनः मैं अपने देश को बहुत प्यार करती हूं तथा प्रायः देश भक्ति की कविताएं लिखती हूं जो कि समय की‌ मांग भी‌ है। आजकल देशभक्ति लुप्तप्राय हो गई है। इसके पुनर्जागरण के लिए प्रयत्नशील हूं।
घोषणा पत्र : मैं यह प्रमाणित करती हूँ कि मेरी यह रचना स्वरचित एवं मौलिक है।


आप भी अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, आदि राष्ट्रीय हिन्दी रक्षक मंच पर अपने परिचय एवं छायाचित्र के साथ प्रकाशित करवा सकते हैं, राष्ट्रीय हिन्दी रक्षक मंच पर अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, आदि प्रकाशित करवाने हेतु अपनी कविताएं, कहानियां, लेख, हिंदी में टाईप करके हमें hindirakshak17@gmail.com पर अणु डाक (मेल) कीजिये, अणु डाक करने के बाद हमे हमारे नंबर ९८२७३ ६०३६० पर सूचित अवश्य करें …🙏🏻

आपको यह रचना अच्छी लगे तो साझा अवश्य कीजिये और पढते रहे hindirakshak.com राष्ट्रीय हिन्दी रक्षक मंच से जुड़ने व कविताएं, कहानियां, लेख, आदि अपने चलभाष पर प्राप्त करने हेतु  राष्ट्रीय हिन्दी रक्षक मंच की इस लिंक को खोलें और लाइक करें 👉 👉 hindi rakshak manch  👈…  राष्ट्रीय हिन्दी रक्षक मंच का सदस्य बनने हेतु अपने चलभाष पर पहले हमारा चलभाष क्रमांक ९८२७३ ६०३६० सुरक्षित कर लें फिर उस पर अपना नाम और कृपया मुझे जोड़ें लिखकर हमें भेजें…🙏🏻.

1 Comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *